दशहरा की शुभकामनायें/ Dussehra Wishes




जब जब असत्य और अधर्म करता है  अट्टाहास।
तब तब अवतरित होते है हम सबके 
प्रभु श्री राम।।
जो करते  है अधर्म और अधर्मी का  संहार।
और तब मनता है विजयदशमी का त्यौहार, 
जो दिलाता है सबकों विजय का एहसास,
और भर देता है जन जन के मन में अपार  उत्साह और उल्लास।।



🌹दशहरे की सबको बहुत बहुत शुभकामनायें🌹
🌹HAPPY DUSSEHRA🌹


    Blogger Comment
    Facebook Comment